नूरपुर ग्राम के पंडित सोनू दुबे भारद्वाज ने बेलवा उपधान, वाराणसी में श्रीमद्भागवत कथा के तृतीय दिवस पर किया ध्रुव चरित्र का दिव्य वर्णन
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वाराणसी। बेलवा उपधान में चल रही श्रीमद्भागवत कथा के तृतीय दिवस पर नूरपुर ग्राम के गौरव, सुप्रसिद्ध कथा व्यास पंडित सोनू दुबे भारद्वाज जी ने विदुर–मैत्रेय संवाद, ध्रुव चरित्र, जड़ भरत कथा एवं अजामिल उपाख्यान का अत्यंत भावपूर्ण और ज्ञानवर्धक वर्णन किया। कथा व्यास ने बताया कि विदुर अपनी व्यथा और परम सत्य के ज्ञान की प्यास लेकर ऋषि मैत्रेय से मिलते हैं, जहाँ उन्हें सृष्टि की रचना, ईश्वर का स्वरूप, अवतारों का उद्देश्य, कर्म सिद्धांत और मोक्ष मार्ग जैसे विषयों पर गहन ज्ञान प्राप्त होता है।ध्रुव चरित्र पर प्रकाश डालते हुए उन्होंने कहा कि बालक ध्रुव ने मात्र बाल्यावस्था में ही कठोर तपस्या का संकल्प लेकर भगवान विष्णु का साक्षात्कार किया। उन्होंने नारद जी के उपदेशानुसार “ॐ नमो भगवते वासुदेवाय” मंत्र का जाप करते हुए छह माह तक एक पैर पर खड़े होकर तप किया। इस अवसर पर यज्ञाचार्य पंडित अभिषेक तिवारी, पंडित सतीश दुबे, पंडित रविकांत दुबे, पंडित सुरेश तिवारी उपस्थित रहे। मुख्य यजमान के रूप में
अनिल मिश्रा, अजय मिश्रा, अंजनी मिश्रा, नैतिक मिश्रा एवं समस्त मिश्रा परिवार सहित ग्राम समाज की उपस्थिति से कार्यक्रम भक्ति भाव से सम्पन्न हुआ।